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Saturday, November 23, 2024
वरुथिनी एकादशी2024

वरुथिनी एकादशी: श्री हरि विष्णु जी की कृपा पाने के लिए जरूर करें ये काम

हिंदू धर्म में एकादशी का बहुत महत्व बताया गया है। साल में कुल 24 एकादशी आती है। जिसमें हर माह में 2 एकादशी पड़ती हैं। एकादशी का व्रत श्री हरि विष्णु जी की कृपा पाने के लिए रखा जाता।

वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि को वरुथिनी एकादशी का व्रत रखा जाता है। साल 2024 में वरुथिनी एकादशी की तिथि को लेकर संशय है।

एकादशी तिथि की 3 मई को रात 11.24 मिनट पर लग जाएगी, वहीं एकादशी तिथि का समापन 4 मई को रात 8.38 मिनट पर होगा. उदयातिथि होने के कारण वरूथिनी एकादशी का व्रत 4 मई, 2024 शनिवार के दिन रखा जाएगा।

वरुथिनी एकादशी के दिन भगवान विष्णु की पूजा करने का विधान है।4 मई को सुबह 07 बजकर 18 मिनट से सुबह 08 बजकर 58 मिनट के बीच आप भगवान विष्णु की पूजा कर सकते हैं। साथ ही जो लोग व्रत रखेंगे वे 5 मई को सुबह 5 बजकर 37 मिनट से लेकर सुबह 8 बजकर 17 मिनट के बीच व्रत का पारण कर सकते हैं।

अगले दिन यानि 5 मई को द्वादशी के दिन इस व्रत का पारण किया जाएगा । एकादशी व्रत के अगले दिन द्वादशी तिथि पर सूर्योदय के बाद पारण किया जाता है।

श्री हरि यानि विष्णु भगवान की एकादशी के दिन विधिवत पूजा करने से पुण्य की प्राप्ति होती है।भगवान विष्णु के पूजन के लिए एकादशी की तिथि को श्रेष्ठ माना गया है।

वरुथिनी एकादशी के दिन लोग भगवान विष्णु के वामन अवतार की पूजा करते हैं और ऐसा माना जाता है कि इस एकादशी पर व्रत रखने से लोग किसी भी प्रकार की बुरी ऊर्जा और नकारात्मकता से सुरक्षित रहते हैं।

एकादशी पर मिलेगा मनचाहा वरदान

वरुथिनी एकादशी व्रत के दौरान भगवान विष्णु की पूजा में शंख का इस्तेमाल करें। ऐसा करना बहुत शुभ माना जाता है।वरुथिनी एकादशी के दिन शंख से भगवान विष्णु को स्नान कराएं और इसके बाद पूजा के दौरान इसी शंख को बजाएं। इस उपाय को करने से श्री हरि व्यक्ति को मनचाहा वरदान देते हैं।

वरुथिनी एकादशी पर जरूर करें ये काम

वरुथिनी एकादशी के दिन भगवान विष्णु की कृपा पाने के लिए पूजा के दौरान श्रीहरि को भोग में तुलसी के पत्ते जरूर चढ़ाएं। भगवान विष्णु को तुलसी बेहद प्रिय मानी जाती है। ऐसे में एकादशी पर विष्णु जी को तुलसी का भोग लगाने से वे अत्यंत प्रसन्न होते हैं, जिससे आपके घर में खुशहाली बनी रहती है।

वरुथिनी एकादशी के दिन क्या करना चाहिए?

इस दिन स्नान करने के बाद तुलसी के पौधे की पूजा करें।

भगवान विष्णु के सामने ध्यान कर व्रत और दान का संकल्प लें।

एकादशी तिथि के दिनभर कुछ भी नहीं खाना चाहिए।

एकादशी के दिन में मिट्टी के बर्तन में पानी भरकर दान करें।

इस दिन किसी मंदिर में भोजन या अन्न का दान करना चाहिए।

जय श्री हरि विष्णु

वरुथिनी एकादशी की हार्दिक शुभकामनाएं

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